ओलंपिक का वो अजीबो गरीब वाकया, जब ‘विनर’ ने लिफ्ट लेकर बेइमानी से पूरी की मैराथन, ऐसे हुआ खुलासा
स्पोर्टस न्यूज डेस्क।। ओलंपिक खेलों को यूं ही खेलों का प्रतीक नहीं कहा जाता। इन खेलों का इतिहास चैंपियंस, रिकॉर्ड और अद्भुत कहानियों से भरा है। लेकिन, मज़ेदार, भावनात्मक और दुखद कहानियाँ भी हैं। आज हम आपको ओलंपिक में होने वाली एक अजीबोगरीब मैराथन के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसे ओलंपिक इतिहास की सबसे अजीब घटना भी कहा जाता है। इस मैराथन के 'विजेता' ने कार में लिफ्ट लेकर रेस की आधी दूरी पूरी की. आइए जानते हैं पूरा मामला और कैसे सामने आई इसकी सच्चाई।
यह साल 1904 में हुए सेंट लुइस ओलंपिक की घटना है. इस मैराथन में एक-दो नहीं बल्कि कई ऐसी अजीब घटनाएं घटीं, जिनकी वजह से इस ओलंपिक मैराथन को हमेशा याद रखा जाएगा। 39.99 किमी की इस दौड़ में प्रतिस्पर्धियों ने दौड़ पूरी करने के लिए तरह-तरह के हथकंडे अपनाए। इसमें 32 लोगों ने भाग लिया लेकिन केवल 14 ही इसे पूरा कर सके। मैराथन के लिहाज से ओलंपिक इतिहास में यह सबसे कम आंकड़ा था। इस दौड़ को पूरा करने वाले पहले धावक का नाम फ्रेड लोर्ज़ था। लॉर्ज, एक अमेरिकी, ने एक साल बाद बोस्टन मैराथन जीता।
लिफ्ट लेकर हाफ मैराथन को कवर किया
जब लॉर्ज को विजेता की ट्रॉफी प्रदान की जा रही थी, तो तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति एलिस रूजवेल्ट की बेटी ने खुद लॉर्ज पर धोखाधड़ी का आरोप लगाते हुए कार्यक्रम में बाधा डाली। बाद में पता चला कि मैराथन के दौरान लॉर्ज को पैर की मांसपेशियों में समस्या हो गई थी और उन्होंने लिफ्ट के साथ लगभग आधी मैराथन पूरी की थी। फिनिश लाइन से ठीक पहले वह कार से बाहर कूद गया और फिनिश लाइन की ओर भागा। लॉर्ज ने बाद में कहा कि मैंने केवल मजाक के तौर पर दौड़ पूरी की थी और नाटक खत्म करने का मेरा कोई इरादा नहीं था।